Board Exam: नैशनल करिकुलम फ्रेमवर्क (NCF) ने अब बोर्ड के एग्जाम में बदलाव करने की तैयारी शुरु कर दी है। केंद्रीय शिक्षा मंत्री एवं उद्यमिता मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि अब साल में एक बार नहीं बल्कि दो बार बोर्ड की परीक्षा होगी।
यह नया नियम शैक्षणिक सत्र 2025-26 से लागू हो सकता है। केंद्रीय शिक्षा मंत्री ने कहा कि नए सत्र 2024 में छह कक्षाओं के लिए नई किताबें आएंगी। क्रेडिट फ्रेमवर्क को भी स्कूली शिक्षा में लाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के कार्यान्वयन के लिए अभी तक कई महत्वपूर्ण पहल की गई हैं। आने वाले दो साल काफी खास होने वाले हैं। स्टूडेंट्स को उनकी पसंद के आधार पर सब्जेक्ट चुनने की आजादी होगी। ऐसे में स्टूडेंट्स पर बोर्ड परीक्षाओं का तनाव कम होगा। स्कूली शिक्षा में नई सोच और बहुविषयक प्रणाली को लाया जा रहा है।
दो बार बोर्ड परीक्षा के फैसले से बच्चे काफी खुश
शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि साल में दो बार बोर्ड एग्जाम होने से स्टूडेंट्स के पास दो बोर्ड परीक्षा देने का ऑप्शन रहेगा। स्टूडेंट पर निर्भर करता है कि वो एक परीक्षा में शामिल होना चाहता है या फिर दोनों परीक्षा में शामिल होना चाहता है। अगर वो दोनों परीक्षा में शामिल होगा तो उसे बेस्ट स्कोर प्राप्त होंगे।
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शिक्षा मंत्री ने बताया कि वह पूरे देश में अलग-अलग हिस्सों में बच्चों से मिलते हैं। दो बार बोर्ड परीक्षा के फैसले से बच्चे काफी खुश हैं। निश्चित तौर पर इससे बच्चों पर बोर्ड परीक्षा का तनाव कम होगा। 2024 में दो बार बोर्ड परीक्षा का स्वरूप तय कर लिया जाएगा।
2024 में इन क्लासों में नई किताबें आयेंगी
शिक्षा मंत्री ने बताया कि नए सत्र 2024 से क्लास 3, 4, 5, 6, 9 और 11 के लिए नई किताबें आएंगी। 2025 में क्लास 7, 10 और 12वीं की नई किताबें आएंगी। 2026-27 के सत्र में 8वीं की नई किताबें आएंगी। अप्रैल 2025 तक बाल वाटिका से लेकर 12वीं तक की नई किताबें आएंगी। नई शिक्षा नीति में 10+2 के स्थान पर 5+3+3+4 का प्रावधान है। 3-8 साल तक की उम्र वाले बच्चों (फाउंडेशनल स्टेज) को खेल- खेल में पढ़ाने के लिए केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने जादुई पिटारा लॉन्च कर दिया है।