चंडीगढ़। राम रहीम की पैरोल-फरलो पर हाई कोर्ट ने हरियाणा सरकार पर सवाल उठाये हैं। उन्होंने डेरा सच्चा सौदा सिरसा के प्रमुख की लगातार रिहाई के खिलाफ शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक समिति (एसजीपीसी) द्वारा दायर याचिका का दायरा बढ़ाते हुए हाई कोर्ट ने राज्य से यह बताने को कहा कि क्या ऐसे लाभ समान स्थिति वाले जेल कैदियों को प्रदान किए गए हैं।
बुधवार को जैसे ही मामले की सुनवाई शुरू हुई, हाई कोर्ट ने सरकार द्वारा डेरा सच्चा सौदा प्रमुख को बार-बार पैरोल/फरलो देने पर सवाल खड़े किए। कोर्ट ने डेरा प्रमुख को विशेष सुविधा देने पर कहा कि काफी संख्या में लोग जेलों में हैं, जो पैरोल/फरलो का इंतजार कर रहे हैं। इस पर सरकार की तरफ से कुछ कोर्ट फैसलों का हवाला देकर कहा गया कि डेरामुखी हार्ड कोर क्रिमिनल नहीं है और केस के अनुसार पैरोल/फरलो पर विचार कर निर्णय लिया जाता है। हाई कोर्ट की कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश रितु बाहरी और न्यायाधीश निधि गुप्ता की खंडपीठ ने सरकार के जवाब पर कहा कि पहले सरकार यह बताए कि उनके पास कितने कैदियों को पैरोल और फरलो की अर्जियां आई हैं और उनमें से कितनों को पैरोल और फरलो दी गई है।
कोर्ट ने यह भी पूछा कि जिस केस में डेरा मुखी को दोषी करार दिया गया है, उसी अपराध के अन्य कितने दोषियों को आज तक कितनी बार पैरोल और फरलो दी गई है और कितनी अर्जियां अब तक पेंडिंग हैं। कोर्ट ने सरकार को यह भी बताने को कहा कि पैरोल/फरलो की मांग को लेकर कितने मामले अदालत में विचाराधीन हैं। हाई कोर्ट ने सरकार से पूछा कि राज्य डेरा प्रमुख के साथ पैरोल/फरलो पर अन्य कैदियों को रिहा करने में क्या समान मापदंड बनाए रख रहा है। हाई कोर्ट ने हरियाणा सरकार को जेल में बंद कैदियों की पैरोल/फरलो याचिकाओं पर अधिकारियों द्वारा लिए गए निर्णय के संबंध में एक स्टेटस रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है। हाई कोर्ट ने यह आदेश एसजीपीसी द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए पारित किए हैं।
वहीँ डेरा प्रमुख गुरमीत सिंह की फरलो अवधि बुधवार को पूरी हो गई है। फरलो खत्म होने पर रोहतक पुलिस की एक टीम डीएसपी के नेतृत्व में कड़ी सुरक्षा के बीच उत्तर प्रदेश के बरनावा आश्रम से सुनारिया जेल लेकर पहुंची। सुनारिया जेल में डेरा प्रमुख गुरमीत सिंह 4:55 बजे एंट्री कर गया। डेरा प्रमुख को 21 नवंबर को 21 दिन की फरलो मिली थी। इसके बाद से वह उत्तर प्रदेश के बरनावा आश्रम में था। बुधवार को छह गाडि़यों के काफिले के साथ गुरमीत सिंह सुनारिया जेल परिसर पहुंचा। इसमें चार गाडि़यां उसकी सुरक्षा देख रही रोहतक पुलिस की थी।