हरियाणा की मंडियों में धान और बाजरे की फसलों की खरीद प्रक्रिया सुचारू रूप से जारी है। मंडियों में अब तक 5069092 मीट्रिक टन धान की आवक हुई है, जिसमें से 4972833 मीट्रिक टन की हुई खऱीद है। प्रदेश सरकार किसानों के हितों को ध्यान में रखते हुए उनके खातों में फसल खरीद का पैसा सीधे भेज रही है। अब तक धान और बाजरा किसानों को 12,001.04 करोड़ रुपये से अधिक का भुगतान किया जा चुका है, जिसमें धान किसानों को 10961.15 करोड़ रुपये और बाजरा किसानों को 1039.89 करोड़ रुपये का भुगतान शामिल है। सरकार द्वारा की गई व्यवस्थाओं को लेकर किसान संतुष्ट है।
खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के प्रवक्ता ने जानकारी देते हुए बताया कि इस खरीद सीजन के दौरान मंडियों में धान व बाजरे की खरीद सुचारू रूप से जारी है। उन्होंने बताया कि किसानों को फसल बेचने में कोई परेशानी न आए तथा उन्हें मंडियों में प्रवेश के लिए अनावश्यक इंतजार न करना पड़े, इसके लिए विभाग ने ऑनलाइन गेट पास की सुविधा उपलब्ध करवाई है। सरकार सामान्य धान के लिए 2,300 रुपये प्रति क्विंटल तथा ग्रेड-ए धान के लिए 2,320 रुपये प्रति क्विंटल न्यूनतम समर्थन मूल्य दे रही है। सभी वरिष्ठ अधिकारी पूरी खरीद प्रक्रिया पर कड़ी निगरानी रख रहे हैं।
प्रदेश में कुरुक्षेत्र में हुई धान की सबसे अधिक आवक
विभाग के प्रवक्ता ने बताया कि हरियाणा में सर्वाधिक 993546.66 मीट्रिक टन धान की आवक कुरुक्षेत्र जिले की मंडियों में हुई। इसी प्रकार करनाल जिले की मंडियों में 827679.03 मीट्रिक टन, कैथल जिले की मंडियों में 810610.69 मीट्रिक टन, फतेहाबाद जिले में 648773.76 मीट्रिक टन, अंबाला की मंडियों में 579630.16 मीट्रिक टन और यमुनानगर जिले की मंडियों में 566561.24 मीट्रिक टन धान की आवक हुई। इसी प्रकार से इसके अलावा, सिरसा जिले में 234787.02 मीट्रिक टन, जींद जिले की मंडियों में 196272.02 मीट्रिक टन तथा पंचकूला जिले में 92189.31 मीट्रिक टन धान की आवक हुई है।