Tickling Kids : अक्सर पैरेंट्स बच्चों को हंसता और खिलखिलाता देखने के लिए उनके गुदगुदी करते हैं. गुदगुदी करने से बच्चे खिलखिला कर हंसने लगते हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं बच्चों को गुदगुदी करना उनके सेहत के लिए कितना नुकसानदेह हो सकता है. आइए जानते हैं बच्चों को गुदगुदी करने से क्या खराब प्रभाव उसकी सेहत पर पड़ सकते हैं.
Tickling Kids : गुदगुदी करने से बच्चों की सेहत पर बुरा प्रभाव
जबरदस्ती हंसी- गुदगुदी करने पर बच्चे हंसते जरुर हैं लेकिन ये उनकी वास्तविक हंसी नहीं होती है. कितनी बार गुदगुदी इतनी तेज होती है कि बच्चा हंसने के अलावा और कुछ कर ही नहीं पाता. यह हंसी उसके शरीर की एक स्वाभाविक प्रतिक्रिया होती है, न कि खुशी का इजहार.
सेल्फ डिफेंस का सेंस खत्म- जब बच्चे को गुदगुदी की जाती है तो वो खुद असमर्थ महसूस कर सकता है. इससे उसकी नहीं या रुक जाओ कहने की प्रवृत्ति कमजोर हो सकती है. लंबे वक्त तक ऐसा होने पर वो बड़े होने पर भी वह दूसरों के प्रति अपनी असहजता जाहिर करने में मुश्किल महसूस कर सकता है.
मांसपेशियों में दर्द- लगातार गुदगुदी करने से बच्चों की मांसपेशियों में दवाब बढ़ने लगता है. उनमें दर्द या ऐंठन की समस्या हो सकती है.
सांस फूलना और घबराहट महसूस होना- लगातार गुदगुदी करने से बच्चे की सांस फूल सकती है और उसे घबराहट महसूस हो सकती है. छोटे बच्चों की श्वसन प्रणाली ज्यादा मजबूत नहीं होती है.
मानसिक तनाव- कई बच्चों को ज्यादा गुदगुदी करने से डर और बेचैनी महसूस हो सकती है. उन्हें ऐसा लग सकता है कि वे अपने शरीर पर कंट्रोल खो रहे हैं, जिससे उनमें असुरक्षा की भावना विकसित हो सकती है.