पंजाब, राज्य में 70 साल में पहली बार किसानों की जीरे की फसल की बर्बादी देखने को मिल रही है, जिसके लिए सीधे तौर पर राज्य और केंद्र सरकार जिम्मेदार है। ये शब्द पंजाब विधानसभा के पूर्व स्पीकर राणा केपी सिंह ने अगमपुर मंडी के दौरे के दौरान व्यक्त किये।
राणा केपी सिंह ने कहा कि त्योहार के दिनों में राज्य के किसानों को मजबूरन बाजार जाना पड़ता है। उन्होंने कहा कि यह दुखद है कि पंजाब की अनुभवहीन सरकार ने किसानों को उनके हाल पर छोड़ दिया और किसानों की फसल की खरीद के लिए अग्रिम व्यवस्था नहीं की।
अगमपुर में अनाज मंडी के दौरान पूर्व स्पीकर ने प्रदेश सरकार पर जमकर हमला बोला, वहीं केंद्र सरकार पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने बॉर्डर पर अपने हक की लड़ाई लड़ रहे किसानों से बदला लेने के लिए जानबूझकर किसानों की फसलें बर्बाद कीं। उन्हें परेशान करने के मकसद से साजिश रची गई, जिसका परिणाम यह है कि आज प्रदेश की मंडियों में किसानों की फसलें पड़ी हुई हैं और प्रदेश का किसान त्योहारों के दिनों में मंडियों में जाने को मजबूर है।
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उन्होंने कहा कि यह दुखद है कि पंजाब की अनुभवहीन सरकार ने भी किसानों को उनके हाल पर छोड़ दिया और किसानों की फसल की खरीद के लिए अग्रिम व्यवस्था नहीं की। उन्होंने सरकार को तीखे शब्दों में चेतावनी देते हुए कहा कि अगर दिवाली से पहले किसानों की फसल खरीदकर किसानों को पैसे का भुगतान नहीं किया गया तो कांग्रेस पार्टी इस पूरी स्थिति पर मंथन कर राज्य सरकार के खिलाफ बड़ा आंदोलन शुरू कर सकती है।
राणा केपी सिंह ने कहा कि मीडिया में गलत बयानबाजी से सरकार बाजार की दयनीय हालत नहीं बदल सकती। उन्होंने कहा कि निचले स्तर पर काम कर किसानों की समस्याओं का समाधान करना और उनकी फसल खरीदना जरूरी है।