मुकेश अंबानी और गौतम अडाणी ब्लूमबर्ग के 100 बिलियन डॉलर (करीब 8.49 लाख करोड़ रुपये) वाली सूची से बाहर हो गए हैं। इसके साथ ही ये दोनों बिलियनेयर ‘एलीट सेंटी बिलेनियर क्लब’ से बाहर हो गए हैं, जो 100 बिलियन डॉलर से ज्यादा की नेटवर्थ वाले अरबपतियों के लिए है।
हालांकि, भारत के टॉप 20 अमीरों की संपत्ति जनवरी 2024 से अब तक 67.2 बिलियन डॉलर बढ़ी है। इस दौरान, आईटी टाइकून शिव नादर और सावित्री जिंदल की संपत्ति सबसे ज्यादा बढ़ी है। शिव नादर की संपत्ति 10.8 बिलियन डॉलर और सावित्री जिंदल की संपत्ति 10.1 बिलियन डॉलर बढ़ी है।
मुकेश अंबानी की संपत्ति में गिरावट आई जब उनकी कंपनी के रिटेल और एनर्जी डिवीजन का परफॉर्मेंस कमजोर रहा। जुलाई में उनकी नेटवर्थ 120.8 बिलियन डॉलर थी, जो 13 दिसंबर तक घटकर 96.7 बिलियन डॉलर हो गई।
वहीं, गौतम अडाणी की संपत्ति में गिरावट का कारण नवंबर में अमेरिकी न्याय विभाग द्वारा उन पर लगाए गए आरोप थे। अडाणी पर सोलर एनर्जी से जुड़ा कॉन्ट्रैक्ट हासिल करने के लिए रिश्वत देने और धोखाधड़ी का आरोप था। जून में अडाणी की नेटवर्थ 122.3 बिलियन डॉलर थी, जो घटकर 82.1 बिलियन डॉलर हो गई। हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट और धोखाधड़ी के आरोपों ने भी उनकी संपत्ति में गिरावट को बढ़ावा दिया।