हरियाणा में दिवाली पहले से स्वास्थ्य विभाग में कार्यरत एनएचएम कर्मचारियों को जोर का झटका लगा है। एनएचएम के निदेशक ने एक पत्र जारी कर कर्मचारियों को वर्ष 2018 में दिए गए सेवा नियमों के लाभ को निरस्त कर दिया है। इस आदेश के बाद एनएचएम कर्मचारियों में न केवल हड़कंप मच गया है।
बता दें कि पूरे प्रदेश में करीब 17 हजार कर्मचारी सेवाएं दे रहे हैं। सेवा नियमों के निरस्त होने पर इन कर्मचारियों को साल में दो बार मिलने वाला महंगाई भत्ता फ्रीज हो गया है। इसी तरह साल में एक बार होने वाली तीन प्रतिशत वेतन वृद्धि भी बंद हो जाएगी। यही कारण है कि धनतेरस के दिन जारी इस पत्र के बाद से एनएचएम कर्मचारी यूनियन ने रोष प्रकट करते हुए फैसले की कड़ी निंदा की है।
एनएचएम कर्मचारियों ने कहा कि तत्कालीन सरकार द्वारा वर्ष 2018 में एनएचएम कर्मचारियों को सर्विस बायलॉज का लाभ दिया गया था। स्वास्थ्य कर्मचारी संघ हरियाणा संबंधित भारतीय मजदूर संघ के प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य हरकेश तथा जिला अध्यक्ष डा. पुष्पेन्द्र ने संयुक्त रूप से कहा है कि दो नवंबर 2021 को तत्कालीन मुख्यमंत्री मनोहर लाल द्वारा एनएचएम कर्मचारियों को सातवें वेतन आयोग की सैद्धान्तिक स्वीकृति प्रदान करते हुये धनतेरस के अवसर पर धन की वर्षा की घोषणा की थी।लेकिन अचानक सरकार ने सेवा नियमों पर रोक लगाकर उनको काली दिवाली मनाने के लिए मजबूर कर दिया।