Thursday, March 6, 2025
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भालचंद्र संकष्टी चतुर्थी पर इस विधि से करें गणेश जी की पूजा, होंगे सारे कष्ट दूर

भालचंद्र संकष्टी चतुर्थी भगवान गणेश को समर्पित है. इस साल 17 मार्च 2025 को यह व्रत रखा जायेगा. यह दिन भक्तों के लिए बहुत महत्व रखता है. इस दिन भगवान गणेश की भक्ति के साथ पूजा करने से घर में सुख-समृद्धि आती है साथ जीवन के सभी बाधाओं से मुक्ति मिलती है. भक्तों की सारी मनोकामनायें पूरी  होती है घर में
खुशियां आती हैं.

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भालचंद्र संकष्टी चतुर्थी के दिन इस विधि से करें पूजा

  • सबसे पहले सुबह उठकर स्नान करें.
  •  अपने घर और पूजा स्थल को अच्छी तरह से साफ करें.
  • अब एक चौकी लें उसपर भगवान गणेश की मूर्ति स्थापित करें.
  • देसी घी का दीपक जलाएं, पीले फूलों की माला अर्पित करें.
  • भगवान गणेश को तिलक लगाएं, मोदक या मोतीचूर के लड्डू का भोग लगायें.
  • इसके बाद भगवान गणेश को दूर्वा घास अर्पित करें.
  • गणेश जी के इस मंत्र ”ॐ भालचंद्राय नमः” का 108 बार जाप करें.
  • भालचंद्र संकष्टी चतुर्थी व्रत कथा का पाठ करें.
  • आखिरी में भव्य आरती करें.
  • पूजा समाप्त होने के बाद घर के सभी सदस्यों को प्रसाद बांटे.

जानिए व्रत की तिथि  

भालचंद्र संकष्टी चतुर्थी चैत्र महीने के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी की शुरुआत 17 मार्च को रात 07 बजकर 33 मिनट पर होगी. जबकि  इसकी समाप्ति 18 मार्च को रात 10 बजकर 09 मिनट पर होगी. आपको बता दें कि इस दिन चंद्रोदय के समय पूजा का विधान है. इसलिए  17 मार्च को भालचंद्र संकष्टी चतुर्थी मनाई जायोगी.

इस दिन गणेश चालीसा का पाठ करना भी बहुत शुभ होता है. इसलिए भक्त इस दिन गणेश चालीसा पाठ जरुर करें.

 

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