चंडीगढ़ : हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने पिंजौर में सेब, फल एवं सब्जी मंडी तथा गन्नौर में भारत अंतरराष्ट्रीय बागवानी मंडी की प्रगति की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को निर्धारित समय सीमा के भीतर काम पूरा करने के निर्देश दिए। इसके अतिरिक्त, उन्होंने गुरुग्राम में फूल मंडी के निर्माण कार्य को भी शुरू करने के निर्देश दिए। सेक्टर-52 ए, गुरुग्राम में 8.26 एकड़ भूमि पर प्रस्तावित फूल मंडी के निर्माण से हरियाणा के फूल उत्पादक किसानों को अपनी उपज बेचने के लिए एक बड़ा प्लेटफार्म मिलेगा।
नायब सिंह सैनी मंगलवार को हरियाणा राज्य कृषि विपणन बोर्ड की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। बैठक में हरियाणा के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री श्याम सिंह राणा भी उपस्थित थे।
पिंजौर में सेब, फल एवं सब्जी मंडी के प्रथम चरण का उद्घाटन मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने 17 जुलाई, 2024 को किया था। इस मंडी के शुरू होने से सेब व्यापार में उल्लेखनीय तेजी आई है। 2024-25 सीजन के दौरान मंडी में 71.67 लाख सेब की पेटियां आई, जबकि 2023-24 में 32.28 लाख पेटियां आई थी। इसके अतिरिक्त, कुल 93 दुकान/भूखंड बेचे गए हैं, जिनकी नीलामी कीमत 171.70 करोड़ रुपये है।
अंतरराष्ट्रीय बागवानी बाजार से किसानों, फल व सब्जी उत्पादकों, आम जनता और व्यापारियों को होगा लाभ
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि गन्नौर में भारत अंतरराष्ट्रीय बागवानी मंडी के प्रथम चरण का निर्माण कार्य जल्द से जल्द पूरा किया जाए। इस परियोजना में 17 मार्केट शेड, एक रिटेल जोन, एक संस्थान ब्लॉक, एक पुलिस स्टेशन, एक फायर स्टेशन और एक किसान विश्राम गृह विकसित करना शामिल है। परियोजना की अनुमानित लागत 3,050 करोड़ रुपये है। मुख्यमंत्री ने इस बात पर जोर दिया कि अंतरराष्ट्रीय बागवानी बाजार से न केवल किसानों को लाभ होगा, बल्कि फल और सब्जी उत्पादकों, आम जनता और व्यापारियों के लिए भी यह बेहद फायदेमंद साबित होगा।
एचएसएएमबी ने राज्य में 18,693 किलोमीटर सड़कों का किया निर्माण
बैठक के दौरान मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने हरियाणा राज्य कृषि विपणन बोर्ड (एचएसएएमबी) और अन्य सड़क निर्माण एजेंसियों को राज्य की सभी सड़कों का रखरखाव सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने आश्वासन दिया कि इस पहल के लिए पर्याप्त धनराशि आवंटित की जाएगी। एचएसएएमबी ने राज्य में 18,693 किलोमीटर सड़कों का निर्माण किया है। वर्तमान में बोर्ड इनमें से, 11,123 किलोमीटर सड़कों का रखरखाव कर रहा है।
सड़क निर्माण कार्य में उच्च गुणवत्ता वाली सामग्री का करें उपयोग
सीएम सैनी ने निर्देश दिए कि जहां भी सड़क की मरम्मत की आवश्यकता है, उन्हें निर्धारित समय सीमा के भीतर पूरा किया जाए। इसके अतिरिक्त, उन्होंने अधिकारियों को सड़क निर्माण के लिए उच्च गुणवत्ता वाली सामग्री का उपयोग करने के भी निर्देश दिए। उन्होंने हर पथ ऐप को क्रियाशील बनाए रखने के महत्व पर भी प्रकाश डाला, ताकि नागरिक आसानी से सड़क क्षति की रिपोर्ट कर सकें, जिसका तुरंत समाधान किया जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने विभिन्न जन कल्याणकारी योजनाएं बनाई हैं और जमीनी स्तर पर उनका प्रभावी कार्यान्वयन सुनिश्चित करना कार्यालयों की जिम्मेदारी है।
एचएसएएमबी द्वारा जिला परिषदों को हस्तांतरित सड़कों की स्थिति की समीक्षा करते हुए, मुख्यमंत्री ने प्रदेशभर में जिला परिषदों को मजबूत करने के लिए राज्य सरकार के प्रयासों पर प्रकाश डाला। पांच जिलों- भिवानी, फतेहाबाद, करनाल, पलवल और यमुनानगर में कुल 1,979 किलोमीटर सड़कें जिला परिषदों को सौंप दी गई हैं। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि इन सड़कों का उचित रखरखाव सुनिश्चित किया जाए।
विवादों का समाधान योजना के तहत अब तक 6,000 लोगों को मिला लाभ
बैठक में जानकारी दी गई कि विवादों का समाधान योजना के तहत अब तक 6,000 लोगों को लाभ मिला है। एचएसएएमबी ने यह योजना उन आवंटियों को अवसर प्रदान करने के लिए शुरू की है, जो अपनी किश्तों, विस्तार शुल्क का भुगतान करने में चूक कर रहे हैं, या जिन्होंने निर्धारित समय सीमा के भीतर अपनी दुकान/बूथ का निर्माण नहीं किया है।
बैठक में मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव राजेश खुल्लर, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव अरुण गुप्ता, कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ राजा शेखर वुंडरू, विकास एवं पंचायत विभाग के आयुक्त एवं सचिव डॉ. अमित अग्रवाल, मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव डॉ. साकेत कुमार, हरियाणा राज्य कृषि विपणन बोर्ड के मुख्य प्रशासक मुकेश कुमार आहूजा, हरियाणा अंतरराष्ट्रीय बागवानी विपणन निगम, गन्नौर के प्रबंध निदेशक मुकुल कुमार सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।