हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि खिलाड़ियों का लक्ष्य ओलंपिक खेलों में पदक जीतना होना चाहिए। प्रदेश सरकार ओलम्पिक खेलों की तैयारियों में अभी से लग गई है। मुख्यमंत्री पंचकूला में योनेक्स-सनराइज अश्वनी गुप्ता मेमोरियल ऑल इंडिया सब-जूनियर रैंकिंग बैडमिंटन टूर्नामेंट 2025 के उद्घाटन समारोह में देश भर से आए खिलाड़ियों को संबोधित कर रहे थे।
इस अवसर पर, मुख्यमंत्री ने बैडमिंटन टूर्नामेंट के शुभारंभ की घोषणा की और अपने स्वैच्छिक कोष से स्पोर्ट्स प्रमोशन सोसाइटी, पंचकूला को 11 लाख रुपये देने की घोषणा की।
इस मौके पर हरियाणा विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष और स्पोर्ट्स प्रमोशन सोसाइटी पंचकूला के चेयरमैन श्री ज्ञानचंद गुप्ता, एंटी करप्शन ब्यूरो के महानिदेशक आलोक मित्तल, वित्त विभाग के आयुक्त एवं सचिव मोहम्मद शाइन, उपायुक्त श्री सतपाल शर्मा, हरियाणा बैडमिंटन एसोसिएशन के संयुक्त सचिव जितेंद्र महाजन, बैडमिंटन एसोसिएशन ऑफ इंडिया के उपाध्यक्ष अजय कुमार सिंघानिया, पंचकूला स्पोर्ट्स प्रमोशन सोसाइटी के अध्यक्ष डीपी सोनी भी उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने विभिन्न राज्यों से आए करीब 2000 प्रतिभागी खिलाड़ियों का हरियाणा में स्वागत एवं अभिनंदन करते हुए कहा कि जीत और हार खेल का हिस्सा हैं, लेकिन आपका जज्बा और खेल भावना ही आपको महान खिलाड़ी बनाएगी। यह भी याद रखें कि आपकी मंजिल केवल एशियन जूनियर बैडमिंटन टूर्नामेंट नहीं है, बल्कि ओलंपिक में भारत के लिए पदक जीतना होना चाहिए।
उन्होंने हरियाणा को स्पोर्टस हब बताते हुए कहा कि हरियाणा के खिलाड़ियों ने अंतर्राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिताओं में पदक जीतकर देश व प्रदेश का नाम रोशन किया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि आज से 11 साल पहले हरियाणा में खेलों के लिए एक विजन विकसित किया जिसके अनुरूप हमने श्खेले हरियाणा-बढ़े हरियाणा के मंत्र के साथ खिलाड़ियों को प्रोत्साहन दिया है और खेल इन्फ्रास्ट्रक्चर को विकसित किया। चाहे खेल स्टेडियम हो, इनडोर हॉल्स हो या फिर रेजिडेंशियल स्पोर्ट्स एकेडमीज, सरकार ने प्रदेश के हर जिले में आधुनिक खेल सुविधाएं विकसित की हैं।
उन्होंने बताया कि प्रदेश सरकार ने खिलाड़ियों को बचपन से ही तराशने के लिए खेल नर्सरियां खोली हुई हैं। हरियाणा को श्खेलों की नर्सरीश् कहा जाता है। इन नर्सरियों में खिलाड़ियों को वित्तीय सहायता व प्रशिक्षण प्रदान किया जाता है। इस समय प्रदेश में 1,489 खेल नर्सरियां कार्यरत हैं। इनमें 37 हजार 225 खिलाड़ी प्रशिक्षण ले रहे हैं। इन नर्सरियों में नामांकित 8 से 14 वर्ष की आयु के खिलाड़ियों को 1500 रुपये तथा 15 से 19 वर्ष की आयु के खिलाड़ियों को 2000 रुपये प्रति माह दिये जाते हैं।
उन्होंने हरियाणा के खिलाड़ियों की उपलब्धियों का जिक्र करते हुए कहा कि चाहे ओलंपिक खेल हों, एशियाई खेल हों या राष्ट्रमंडल खेल हों, हरियाणा के खिलाड़ियों ने हर मोर्चे पर तिरंगे को ऊंचा फहराया है। राज्य के खिलाड़ियों ने पेरिस ओलंपिक 2024 में देश द्वारा जीते गये 6 पदकों में से 5 पदक हरियाणा के खिलाड़ियों के थे। इससे पहले, टोक्यो ओलंपिक 2020 में भारत द्वारा जीते गए 7 पदकों में से 4 पदक हरियाणा के खिलाड़ियों ने हासिल किए। यही नहीं, एशियाई खेलों में भी हमारा प्रदर्शन बड़ा ही सराहनीय रहा है।
मुख्यमंत्री ने सभी खिलाड़ियों से आग्रह किया कि आप एक टीम की तरह खेले। एक-दूसरे का सहयोग करें, एक-दूसरे से सीखें, आपकी एकता ही आप सबकी सबसे बड़ी ताकत है।
इस अवसर पर हरियाणा विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष और स्पोर्ट्स प्रमोशन सोसाइटी पंचकूला के चेयरमैन ज्ञानचंद गुप्ता ने भी संबोधित किया।