5 हजार साल पुराना है लिपस्टिक का इतिहास, पहले कीड़ों को मारकर तैयार हुई लिपस्टिक
लिपस्टिक के बिना तो महिलाओं का श्रृंगार अधूरा सा लगता है
ना जाने कितने ही गाने और गजल सूर्ख लाल होंठो के ऊपर लिखी गई है
होंठो की खूबसूरती को बढ़ाने वाली इस लिपस्टिक का इतिहास काफी पुराना है
कभी सोचने की कोशिश की है कि आखिर दुनिया की सबसे पहली लिपस्टिक कहां से आई या फिर इसका इतिहास कितना पुराना है
कामसूत्र में भी किया गया है लिपस्टिक का वर्णन
महर्षि वात्स्यायन द्वारा रचित कामसूत्र में होंठों को रंगने के लिए लाल लाख, मोम और फलों के रस के बारे में बताया गया है।
उस दौर में भी होंठों को आकर्षक बनाने के लिए इस तरह की चीजों का इस्तेमाल किया जाता था
सुमेरियन समाज जब फल-फूल रहा था तब होंठों को सजाने के लिए महिलाएं रत्नों को पीसकर लगाती थीं ताकि उनके होंठ सुंदर लगें
फलों के रस और फूलों से भी होंठ को रंगने की परंपरा थी
5000 साल पहले क्लियोपेट्रा और उस दौर की यूनानी महिलाएं कीड़ों को मारकर उन्हें पीसकर एक पेस्ट बनाती थीं जिससे होंठों को रंगने का काम किया जाता था
9वीं सदी में अरब वैज्ञानिक Abulcasis को सॉलिड लिपस्टिक का आविष्कारक माना जाता है
1884 में फ्रेंच परफ्यूम कंपनी गुलेरियन वो पहली कंपनी थी जिसने लिपस्टिक को कमर्शियली बेचना शुरू किया था
1915 में लिपस्टिक पहली बार सिलेंड्रिकल ट्यूब्स में आई जिसे मॉरिस लेवी ने इजात दिया था
1920 के दशक तक लिपस्टिक ने महिलाओं की जिंदगी में एक परमानेंट स्थान बना लिया था
1923 में जेम्स ब्रूस मेसन जूनियर ने लिपस्टिक का घूमने वाला सिलेंडर बनाया जिससे अभी मॉर्डन लिपस्टिक बनी है